शहर में नवयुवक बनना चाह रहा है डॉन पुलिस का नहीं है खौफ

शहर में नवयुवक बनना चाह रहा है डॉन पुलिस का नहीं है खौफ

बैतूल। यह क्या हो गया है बैतूल शहर को ऐसा कोई दिन या महीना नहीं जब शहर में गोली नहीं चल रही विभक्त की तरह अपराध नवयुवक बैतूल शहर के अपने आपको डॉन समझने लगे हैं पुलिस का भी खौफ नहीं इन सब का कोई इलाज नजर ही नहीं आ रहा बैतूल शहर देशभर में दागदार हो रहा है कि जरा जरा सी बात पर बैतूल शहर में गोलिया चल जा रही है गुंडे और गुंडाराज बढ़ता जा रहा है समाधान जिनके पास है उनको ना जाने किसका इंतजार है उधर गुंडे बदमाश बर्दी के खौफ को ठेंगे पर नहीं चाकू की नोक पर रखकर घूम रहा है खौफ में हैं हमारा बैतूल शहर धारा लगाने से क्या होता है साहब इनकी उम्र पर मत जाओ इनकी बिलास भर की कद काठी देखो ना छटाक भर का बदन देखो इनको बस ठोको लट तो आपके इन पर असर नहीं करते नाइट्रा एमडी जैसे ड्रग्स लेते हैं लट झेल लेते हैं आप भी डर जाते हो कि हाथ पैर में दम नहीं और हम किसी से कम नहीं वाला यह टर्टपुजिया मर नहीं जाए आप डरो मत जमकर ठोको यह बदमाश बनने सड़कों पर उतरे हैं सपना इनका बदमाशी करने का बिजनेस करना चाहते ही अपराध खौफ का आप इनका बिजनेस जमने ही मत देना जाने कितने सहाब आए और गए बैतूल वासियों को आप पर उम्मीदें है साहब की अब तो इन टटपुजियो पर कार्रवाई होगी इनका इलाज अब इनकी हथियार से करना होगा इनको भी अपने स्वास्थ्य का डर है इनको भी कभी गोली का कि जब बंदूक से छूटकर बदन में घुसती है तो क्या-क्या चीर देती है इन्हें भी एहसास कराओ ना ताकि पता चले कि दर्द क्या होता है इसके बगैर यह आप से डरने वाले नहीं है क्योंकि यह बदमाशी के बिजनेस में उतरे लोग हैं इनकी कमीशन शक्ल पर मत जाओ नियत को समझो क्योंकि कालीख रोज आपकी वर्दी पर लग रही है बैतूल में जिस तरह अवैध हथियारों का जखीरा और अवैध हथियारों से आए दिन फायरिंग हो रही है इससे पुलिस महकमा बदनाम हो रहा है वही बैतूल शहर में जरा सी बात पर गोलियां चल जाती है ऐसा ना हो कि बैतूल गैंग ऑफ वासेपुर बन जाएगा अगर बैतूल को गैंग ऑफ वासेपुर बनने से रोकना है तो पुलिसिया को अपने तौर-तरीकों से हटकर ही कुछ करना होगा एक वह दौर था जब पुलिस और अफसर ऐसे बदमाशों की चुनौती को चुनौती के रूप में लेते थे गुंडों से ऑन द स्पॉट दो-दो हाथ करते थे उठाकर पटक भी देते थे और उसी इलाके से कॉलर पकड़कर घसीटा लाते थे जहां गुंडे की रंगदारी रहती थी वक्त रहते गोली की भाषा भी समझाई जाती थी किसी भी नाम चीन को इस शहर की पुलिस ने पनपने नहीं दिया या तो खुद सबक सिखाया या फिर प्रस्तुति को आगे कर दिया लेकिन सर को गैंग ऑफ वासेपुर नहीं बनने दिया यह कोई पुरखों के जमाने की बात नहीं है चंद साल पहले ही पुलिसिया दादागिरी की दास्तां है तब तो आपके पुलिस विभाग के पास में इतना हमला था ना इतने संसाधन नही थे ना कमिश्नर जैसे अधिकार थे हौसला था हिम्मत ही जज्बा था और जुनून था पुलिस की नौकरी का इज्जत की वर्दी की सम्मान था महकमे का तभी तो इस शहर में कोई गुंडाराज नहीं कर पाए एक से बढ़कर एक नामचीन दादा गुंडे बदमाश हुए लेकिन थाने के एक जवान का भी रुका था बदमाश उसको भी पूरा थाना मानते थे और डरते थे अब तो पुलिस का जवाब तो दूर थाने से ही नहीं डरते नतीजा सामने है अब गुंडाराज की वर्दी का खौफ क्यों नहीं है कहां से आएगा ख्वाब जब राजनीति की तरफ से लेकर अमले की पोस्टिंग हो इस शहर के भले के लिए नहीं इस शहर को जितना बन पड़े छोड़ने के लिए यह सप्ताह से प्राप्त पोस्टिंग गुंडई पर अंकुश के लिए नहीं निपटाने के लिए नेताओं के पसंद के संबंधित इलाकों में नियुक्ति का चलन है अब इस चैनल में आप हम और यह शहर वर्दी के पुराने रूदार चाल चलन तला से तो खाली हाथ ही रहना है तभी तो बिल्लास भर के बदमाश शहर के साथ-साथ बैतूल के पूरे पुलिस तंत्र पर हावी है और पुलिस का खौफ ठेंगे पर नहीं चाकू पर नहीं बैतूल में गोली की नोक पर लेकर घूम रहा है जरा जरा सी बात पर जान लेने से नहीं डर रहे भरे बाजार में कर रहे अवैध गट्टे से फायरिंग बैतूल शहर में गुरुवार के दिन लगभग रात 1:00 रेलवे स्टेशन के सामने पानठेले पर एक वेंडर पर फायर करने की खबर है। तीन अज्ञात युवकों ने पानठेले के समक्ष युवक पर फायर किया। हालांकि फायर जिस युवक पर किया था वह बाल-बाल बच गया। घटना की जानकारी पुलिस को सुबह लगी तब आनन-फानन में घटना स्थल का निरीक्षण कर सीसीटीवी के आधार पर आरोपियों की तलाश की जा रही है।सूत्रों के मुताबिक रेलवे स्टेशन के सामने स्थित एक पानठेले पर गुरुवार दिन बीती रात करीब एक बजे एक वेंडर से चार युवकों का विवाद हो गया। इस विवाद में अचानक चारो युवकों में से एक ने वेंडर पर कट्टे से फायर कर दिया। प्रत्यक्षदर्शियों की माने तो गोली वेंडर के करीब से होकर निकल गई, जिस समय गोली चली, तब स्टेशन के सामने काफी चहल-पहल थी। यह तो शुक्र है कि बदमाशों द्वारा चलाई गई गोली किसी अन्य व्यक्ति को नहीं लगी। प्रारंभिक जानकारी के अनुसार फायर एक वेंडर पर हुआ है।सूत्रों के मुताबिक फायर की घटना से पूरे क्षेत्र में हड़कंप मच गया। देर रात तक खुली दुकानें अचानक बंद होना शुरू हो गई। फायर करने के बाद चारो युवकों के द्वारा इनोवा गाड़ी से भागने की खबर है। घटना की जानकारी दूसरे दिन पुलिस को मिलने पर एसडीओपी सृष्टि भार्गव और गंज टीआई एबी मर्सकोले ने घटना स्थल पहुंचकर लोगों से पूछताछ की है। अब तक फरियादी के बयान के आधार पर निम्न धारा 307, 365,506, 294, 323, 34 के तहत मामला पंजीकृत कर लिया और अपराधियों की तलाश जारी है। घटना क्षेत्र में हुई वहां पर लगे सीसीटीवी की फुटेज भी पुलिस अधिकारियों के पास पहुंच चुकी है वही सूत्रों से भी कुछ फुटेज अधिकांश पत्रकारों के पास उपलब्ध है। वैसे युवाओं की जेब में कट्टे, माउजर जैसे हथियार मिलना आम बात हो गई है। पुलिस को यह प्रयास करने चाहिए कि आरोपियों को पकड़ाने पर जब्त हथियार कहां से आए? पूछताछ पर कई खुलासे हो सकते हैं, लेकिन पुलिस आरोपियों को पकड़कर हथियार जब्त कर लेती है। इससे हथियार उपलब्ध कराने वालों का खुलासा नहीं हो पाता।

इनका कहना है

थाना प्रभारी का कहना है कि गुरुवार दरमियान रात 1:00 बजे गोली चलने की सूचना प्राप्त हुई थी जिसमें फरियादी द्वारा बताया गया उस आधार पर विवेचना का अपराध पंजीकृत किया गय

एबी मसकोले थाना प्रभारी गंज

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